(Front News Today) वैश्विक स्तर पर आपदा बने चुके कोरोंना वायरस को लेकर विश्व स्वास्थ संगठन (WHO) ने कुछ शर्तों के साथ यह स्वीकार कर लिया है कि कोरोना वायरस (CoronaVirus) हवा में फैल सकता है. WHO ने गुरुवार को इस संबंध में नई गाइडलाइंस जारी की, जिसमें वायरस के हवा में फैलने से जुड़ी रिपोर्टों को स्वीकार किया गया है. हालांकि, WHO ने यह भी स्पष्ट कर दिया है कि इस संबंध में व्यापक अध्ययन की जरूरत है.

गौरतलब है कि हाल ही में कई देशों के वैज्ञानिकों ने दावा किया था कि वायरस हवा में फैलता है. खासकर जब कोई संक्रमित व्यक्ति सांस छोड़ता, बात करता या खांसता है, तो वायरस हवा में फैल जाता है. डब्ल्यूएचओ लंबे समय से इस संभावना को खारिज कर रहा था कि कोरोना वायरस कुछ चिकित्सा प्रक्रियाओं को छोड़कर हवा में फैलता है, लेकिन अब उसने इसे स्वीकार कर लिया है. WHO ने माना कि कुछ रिपोर्टों में इंडोर एरिया जैसे कि रेस्टोरेंट, फिटनेस क्लास आदि जगहों पर संक्रमण के हवा में फैलने का दावा किया गया था, जो कि संभव है. ऐसा विशेष रूप से इंडोर स्थानों में संक्रमित व्यक्ति के साथ लंबे समय तक रहने से हो सकता है. हालांकि, संगठन ने यह भी कहा कि इस विषय में तत्काल गहन शोध किये जाने की जरूरत है. मौजूदा सबूतों की समीक्षा के आधार पर, डब्ल्यूएचओ ने कहा कि वायरस दूषित सतहों के प्रत्यक्ष या अप्रत्यक्ष संपर्क और संक्रमित व्यक्ति के ज्यादा करीब आने से लोगों में फैलता है, जब संक्रमित व्यक्ति खांसता, छींकता है, सांस लेता, बोलता या गाता है, तो वायरस हवा में फैलकर दूसरों को अपनी चपेट में ले सकता है.

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